बाराबंकी , नेपाल से बरसाती पानी छोड़े जाने से उफनायी सरयू नदी के लाल निशान पार कर लेेने से बाराबंकी जिले की तीन तहसीलों के सैकड़ों गांव जलमग्न हो गये है।
आधिकारिक सूत्रों ने शनिवार को बताया कि सरयू का जलस्तर खतरे के निशान से करीब एक मीटर ऊपर बह रहा है। बाढ़ के पानी से रामनगर,सिरौलीगौसपुर और फतेहपुर तहसील क्षेत्र के लगभग 100 गांवों में भर गया है। घरों में कई फिट तक पानी भरने से लगभग 50 हजार आबादी को संकट पैदा हो गया है । लोग घर छोड़कर तटबंध पर शरण ले रहे हैं। इस बीच बाढ़ के पानी की चपेट में आने से सिरौली के पास के एक पुल का संपर्क मार्ग बह गया। इससे कई गांवों का आवागमन पूरी तरह से बंद हो गया है।
जिला अधिकारी डॉक्टर आदर्श सिंह ने बताया कि जिला प्रशासन ने बाढ़ में फंसे लोगों और उनके पशुओं को सुरक्षित निकाल सुरक्षित जगह पर पहुंचा दिया गया है जबकि ग्रामीण नाव ना मिलने का आरोप लगा रहे हैं और बाढ़ के पानी से अपनी जान बचाने के लिए मकान की छतों पर डेरा डाले हुए हैं। ऐसे लोगों का गांव से बाहर निकल पाना मुश्किल हो रहा है। मकान गिरने की आशंका के चलते कई परिवार गहरे पानी के बीच जान को जोखिम में डालकर तटबंध पर पहुंच रहे हैं।
नदी का जलस्तर बढ़ने की सूचना पर एसडीएम सिरौलीगौसपुर प्रतिपाल सिंह राजस्व कर्मियों के साथ बाढ़ पीड़ितों के बीच पहुंचे और मदद पहुंचाने का आश्वासन दिया। उधर एडीएम ने बाढ़ चौकियों पर तैनात राजस्व कर्मियों को सतर्क किया है। उन्हें किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार रहने के निर्देश दिए हैं।
सूत्रों ने बताया कि एल्गिन ब्रिज पर बने कंट्रोल रूम के मुताबिक नदी का पानी खतरे के निशान से एक मीटर ऊपर पहुंच गया है। इस वर्ष यह सबसे ज्यादा जलस्तर है। इस बीच नेपाल से शुक्रवार दोपहर फिर साढ़े तीन लाख क्यूसेक पानी नदी में छोड़ा गया है। गुरुवार को करीब सात लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया था। शुक्रवार को फिर पानी छोड़ जाने से सरयू के और उफनाने की आशंका है। नदी का जलस्तर बढ़ने के साथ ही पानी कोरियनपुरवा, तपेसिपाह, दुर्गापुर, लहड़रा समेत आधा दर्जन गांवों में पानी भर गया है। इन गांवों लोग सुरक्षित स्थानों की ओर जा रहे हैं।