योगी सरकार का दावा, पुलिस आवास निगम घाटे से उबर कर लाभ में पहुंचा

लखनऊ , उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने दावा किया है कि उसके कार्यकाल में पुलिस आवास निगम की कार्यप्रणाली को और अधिक चुस्त-दुरूस्त व प्रभावी बनाया गया है जिसके चलते घाटे में चल रहा यह निगम अब लाभ की ओर अग्रसर है।

अपर मुख्य सचिव (गृह) अवनीश कुमार अवस्थी ने शुक्रवार को लोक भवन में पुलिस आवास निगम द्वारा किये जा रहे कार्यों की समीक्षा की और पुलिस आवास निगम को दिये गये निर्माण कार्यों की गुणवत्ता को सुनिश्चित करते हुए उनके समयबद्ध रूप से पूर्ण किये जाने के निर्देश दिये। उन्होने कहा कि सरकार निर्माण कार्यों के लिए पर्याप्त धन की व्यवस्था कर रही है।

पुलिस आवास निगम के अपर पुलिस महानिदेशक/सीएमडी हरि राम शर्मा ने बताया कि वर्ष 2017-18 में निगम 11 करोड़ तथा 2018-19 में आठ करोड़ रूपये के घाटे में चल रहा था, वही 2019-20 के अगस्त से निगम लाभ की ओर अग्रसर हुआ है। वर्तमान समय में घाटे की बजाय एक करोड़ के लाभ में पहुॅच गया है।

उल्लेखनीय है कि उत्तर प्रदेश पुलिस आवास निगम की आठ निर्माण इकाईयाॅ क्रमशः मेरठ, आगरा, कानपुर, लखनऊ, प्रयागराज, वाराणसी, गोरखपुर और गोण्डा में स्थित हैं।
उन्होने बताया कि पुलिस विभाग के आवासीय एवं अनावासीय भवनों के निर्माण कार्य के तहत पुलिस आवास निगम द्वारा कुल 155 निर्माण कार्य किये जा रहे हैं। इसके तहत 29 फायर स्टेशनों, 17 थानों एवं सात पुलिस चौकियों के आवासीय एवं अनावासीय भवनों का निर्माण कार्य निगम द्वारा किया जा रहा है। साथ ही 44 जिलों की पुलिस लाइन्स के महिला हाॅस्टल/बैरक (जी़3) के 44 कार्य तथा 44 जिलों की पुलिस लाइन्स के बहुमंजिला भवन से सम्बन्धित 58 निर्माण कार्य निगम द्वारा कराये जा रहे हैं। सरकार ने महिला पुलिस कर्मियों के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता पर आवासीय व्यवस्था किये जाने के निर्देश दिये है।

बैठक में बताया गया कि सरकार ने पुलिस आवास निगम को 155 कार्यों के लिये 100647 लाख रूपये की धनराशि मंजूर की है जिसमें से अब तक 15761 लाख रूपये की धनराशि अवमुक्त की जा चुकी है। पुलिस आवास निगम द्वारा अब तक 7105 लाख रूपये से अधिक की धनराशि निर्माण कार्यो पर व्यय की जा चुकी है।

उत्तर प्रदेश पुलिस आवास निगम के अधिकारियों ने बैठक में बताया कि जिन जिलों की पुलिस लाइन्स में महिलाओं के लिए बैरक निर्माण कार्य किया जा रहा है, उनमें हमीरपुर, मुजफरनगर, लखनऊ, रामपुर, हाथरस, उन्नाव, मऊ, फिरोजाबाद, बरेली, मेरठ, गोरखपुर, मैनपुरी, कानपुर देहात, एटा, आगरा, अलीगढ़, बदायूॅ, मथुरा, पीलीभीत, अयोध्या, बिजनौर, गौतमबुद्धनगर, ललितपुर, जालौन व फतेहगढ़ शामिल हैं। इसके अलावा कानपुर देहात, उन्नाव, रायबरेली, बाराबंकी, सीतापुर, मुरादाबाद, बिजनौर में पुरूषों के लिए पुलिस लाइन्स में बैरक निर्माण कार्य किया जा रहा है।

बैठक में जानकारी दी गयी कि पुलिस आवास निगम द्वारा इनको सफीपुर (उन्नाव), करनैलगंज (गोण्डा), स्याना (बुलंदशहर), विधूना (औरैया), चकरनगर (इटावा), महाराजगंज (रायबरेली) एवं बासगांव (गोरखपुर) में फायर स्टेशन के निर्माण कार्य के लिये अग्रिम धनराशि की मांग के लिये उपयोगिता प्रमाण-पत्र पुलिस मुख्यालय को प्रेषित किया गया है। इसके अलावा थाना गैड़ास बुजुर्ग (बलरामपुर), थाना नैमीषाराण्य, कोतवाली देहात (सीतापुर) में अनावासीय भवन, बेल्हर कला (संतकबीरनगर) में आवासीय/अनावासीय भवन तथा थाना साड (कानपुर नगर) में आवासीय/अनावासीय भवन का निर्माण कार्य किया जा रहा है।

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