महोबा , देश में जल संरक्षण के लिए प्रभावी काम कर जल आंदोलन को जन आंदाेलन बनाने के प्रयासों में जुटे पद्मश्री उमाशंकर पांडे ने शनिवार को अटल भूजल योजना तथा राज्य भूगर्भ जल विभाग के सहयोग से बुंदेलखंड में महोबा के पनवाड़ी ब्लॉक में शुक्रवार को पानी की पाठशाला का शुभारंभ किया।
यहां पनवाड़ी ब्लाक संसाधन केंद्र में आयोजित पाठशाला को संबोधित करते हुए पद्मश्री पांडे ने कहा कि देश में 25 करोड़ से अधिक बच्चे, युवा ,केजी से पीजी तक शिक्षा, प्रशिक्षण, अनुसंधान, प्रयोग करते हैं। उन्हें जल संरक्षण की शिक्षा प्राथमिक स्तर से अनिवार्य रूप से देनी चाहिए।
उन्होंने कहा“ जीवन बीमा नहीं भविष्य के लिए जल बीमा करें। जल ही जगन्नाथ है मैंने अपनी चार दिन की, जल कोष यात्रा ,में कबरई विकासखंड के पसवारा ग्राम पंचायत, जैतपुर विकासखंड का अंतिम गांव धवररा तथा पनवाड़ी विकासखंड की देवगनपुरा ग्राम पंचायत, तथा चरखारी विकासखंड की सुपा ग्राम पंचायत में बच्चों, किसानों, पानी के पहरेदारों के साथ जमीनी चर्चा की।”
उन्होंने कहा “ सार्वजनिक जलाशय, तालाब, कुआं, छोटी नदियां सभी के दर्शन किए। महोबा में आज से 1000 वर्ष पहले बुंदेलो और चंदेलों ने अद्भुत समुदाय के आधार पर जल संरक्षण किया था, हम तो ना जल स्रोत बचा पाए और ना ही जल संरक्षण कर पाए। जल के मामले में हमें गंभीर होना चाहिए छोटे-छोटे उपाय बड़े परिणाम लाते हैं। हर संस्था सरकारी, गैर सरकारी, अर्ध सरकारी, व्यक्तिगत स्तर पर जल ज्ञान के लिए पानी की पाठशालाएं शुरू करें। माह में दो बार आधे घंटे जल संरक्षण व पौधारोपण के लिए दें। आज का दिन शुभ है क्योंकि देश के 1857 की क्रांति के महानायक मंगल पांडे का जन्म दिवस है और बुंदेलखंड में ही आचार्य विनोबा को भूदान के दौरान पहला ग्रामदान मिला था और यहीं पर पहली चलती फिरती, पाठशाला का शुभारंभ हमने किया है वर्षा की बूंदे जहां गिरे वही रोक मेड़बंदी करें पेड़ लगाए।”
इस अवसर पर जल शक्ति विद्यापीठ के सचिव अंकित पांडे ने कहा कि जल बनाया नहीं जा सकता यह समुदाय मिलकर ही पानी को बचा सकता है। सहायक अभियंता भूगर्भ जल विभाग अक्षय कुमार ने कहा कि जल कोष यात्रा का सकारात्मक प्रभाव देखने को मिल रहा है । पानी की पाठशाला का असर अच्छे परिणाम लाएगा यह छोटी शुरुआत है जल संचयन के क्षेत्र में यह मिल का पत्थर साबित होगा।
कार्यक्रम में खंड शिक्षा अधिकारी राजेश तिवारी थाना प्रभारी पनबडी मनीष पांडे आई जी सी एक्सपर्ट सुमित श्रीवास्तव, एग्रीकल्चर एक्सपर्ट सौरभ श्रीवास्तव ब्लॉक कोऑर्डिनेटर डीआईपी का सहयोग सराहनीय रहा । कार्यक्रम का संचालन आईजीसी एक्सपर्ट अखिलेश पांडे ने किया। इस यात्रा के दौरान जल विशेषकों ने कीरत सागर, मदन सागर, विजय सागर, कल्याण सागर के दर्शन किए ।