टाटा समूह ने दिखाया बड़ा दिल, कर्मचारियों व मजदूरों के हित मे लिया बड़ा फैसला

नयी दिल्ली, कोरोना वायरस संकट के बीच टाटा समूह ने बड़ा दिल दिखाते हुये, कर्मचारियों व मजदूरों के हित मे बड़ा फैसला लिया है। टाटा समूह की कंपनियां अस्थायी कर्मचारियों और दिहाड़ी मजदूरों को मार्च-अप्रैल का पूरा वेतन देगी।

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टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन ने शुक्रवार को कहा कि यदि कोई अस्थायी कर्मचारी या दिहाड़ी श्रमिक पृथक रहने के लिए उठाए गए कदमों के चलते काम पर नहीं पहुंचता है। उस स्थिति में भी टाटा समूह की कंपनियां उन्हें मार्च और अप्रैल का पूरा वेतन देना सुनिश्चित करेंगी।
चंद्रशेखरन ने कहा कि कोरोना वायरस एक वैश्विक महामारी है। ऐसे मुश्किल समय में देश को सामूहिक प्रयास करने की जरूरत है।

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उन्होंने कहा, ‘‘टाटा समूह की सभी कंपनियों से बहुत अधिक सावधानी बरतने को कहा गया है। हमारे लिए हमारे कर्मचारियों, उनके परिवारों, हमारे आपूर्तिकर्ताओं, वितरकों और अन्य सभी के स्वास्थ्य की रक्षा सबसे अहम है।’’ उन्होंने कहा कि टाटा समूह की कंपनियों ने बड़े स्तर पर घर से कार्य की सुविधा शुरू कर दी है।

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चंद्रशेखरन ने कहा, ‘‘हमने अपनी कंपनियों से तेजी से व्यापक स्तर पर घर से कार्य की सुविधा शुरू करने के लिए कहा है। ताकि बहुत अनिवार्य स्थितियों में ही कर्मचारियों को घर से बाहर निकलना पड़े। जनहित में सामानों या सेवाओं की आपूर्ति करने वाले कर्मचारियों को इससे अलग रखा गया है।’’ उन्होंने कहा कि मौजूदा स्थिति का ज्यादा नुकसान समाज के निचले तबके को होगा। ऐसे संकट के समय उनके समूह की कंपनियां अस्थायी और दिहाड़ी श्रमिकों को पूरा वेतन देना सुनिश्चित करेंगी।

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