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उमाकांत यादव को बसपा मे शामिल होते ही, संगठन मे मिली महत्वपूर्ण जिम्मेदारी

जौनपुर, पूर्व सांसद उमाकांत यादव ने अपने पुत्र दिनेशकांत यादव व समर्थकों के साथ बसपा की सदस्यता ग्रहण की। बसपा के जोन कोआर्डिनेटर डा. रामकुमार कुरील इस बात की घोषणा की। पार्टी मे शामिल होते ही उन्हे महत्वपूर्ण जिम्मेदारी दी गयी है।

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 डा. कुरील ने कहा कि पार्टी की मुखिया मायावती की अनुमति से उमाकांत यादव के पार्टी में शामिल किया गया है। वह पहले से बसपा के मिशन पर काम करते रहे हैं। कुछ विवादों के चलते पार्टी छोड़कर चले गए थे। 2019 के लोकसभा चुनाव के मद्देनजर उन्हें पूरे पूर्वांचल में संगठन मजबूत करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है।

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 उमाकांत यादव ने कहा कि वह बसपा के मिशन के लिए काम करते रहे हैं। अगला लोकसभा का चुनाव सपा और बसपा मिलकर लड़ेगी। पूर्व सांसद ने साफ कहा कि उनका उद्देश्य बहन मायावती को प्रधानमंत्री बनाना हैं। उमाकांत यादव पहली बार 1991 में बसपा के टिकट पर खुटहन से विधायक चुने गए थे। वर्ष 1993 में दूसरी बार विधायक बने। 1996 में सपा में शामिल हुए और जेल में रहकर विधायक चुने गए। 2002 में वह जनतादल यू के टिकट पर खुटन से चुनाव लड़े लेकिन बसपा सेे चुनाव हार गए थे। 2004 में जेल में रहकर वह बसपा के टिकट पर सांसद बने। उन्होंने केशरीनाथ त्रिपाठी को हराया था।

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 आजमगढ़  में एक मकान पर कब्जे के विवाद में तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने उन्हें अपने घर के बाहर से गिरफ़्तार करवाया था, अब उनकी बीएसपी में घर वापसी हो गई है।  वर्ष 2014 में बसपा ने लोकसभा का टिकट नहीं दिया तो वह राष्ट्रीय लोकदल में शामिल हो गए थे। उनके भाई रमाकांत यादव बीजेपी में हैं. वे आज़मगढ़ से कई बार सांसद रह चुके हैं. रमाकांत के बेटे अरूण यादव बीजेपी के विधायक हैं. आज़मगढ़ से लेकर जौनपुर जिले तक इस परिवार का सालों से दबदबा रहा है.

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 समारोह में जोनल कोआर्डिनेटर विनोद कुमार बांगड़ी, अशोक गौतम, विरेंद्र चौहान, पूर्व एमएलसी प्रभावती पाल, विवेक यादव, दिनेश टंडन, इम्मितयाज अहमद, मिर्जा जावेद सुल्तान, अमर जीत गौतम, रामचंद्र गौतम, चंदन जायसवाल, मुमताज, ओमप्रकाश गौतम, राजदेव यादव, रामकिशोर समेत बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे।