आंखों की देखभाल करना बेहद जरूरी है। यह हमारे शरीर का बहुत महत्वपूर्ण अंग होने के साथ-साथ ये हमें दुनिया की खूबसूरती से रू-ब-रू भी करवाती है। लेकिन समय के साथ बढ़ते प्रदूषण और बदलती लाइफस्टाइल के कारण हमारी आंखों की रोशनी पर बुरा असर पड़ता है जिससे वो धीरे-धीरे कमजोर होने लगती है। जानें वो देसी नुस्खे जो आपकी आंखो की रोशनी को बढ़ाने में मदद करेंगे
पैर के तलवों पर सरसों के तेल की मालिश करके सोएं। सुबह के समय नंगे पैर हरी घास पर चलें व नियमित रूप से अनुलोम-विलोम प्राणायाम करें।आंखों की कमजोरी दूर हो जाएगी। -एक चने के दाने जितनी फिटकरी को सेंककर सौ ग्राम गुलाबजल में डालकर रख लें। रोजाना रात को सोते समय इस गुलाबजल की चार-पांच बूंद आंखों में डाले। साथ ही,पैर के तलवों पर घी की मालिश करें इससे चश्में के नंबर कम हो जाते हैं। -आंवले के पानी से आंखें धोने से या गुलाबजल डालने से आंखें स्वस्थ रहती है। -बादाम की गिरी, बड़ी सौंफ व मिश्री तीनों को समान मात्रा में मिला लें। रोज इस मिश्रण को एक चम्मच मात्रा मंट एक गिलास दूध के साथ रात को सोते समय लें। -बेलपत्र का 20 से 50 मि.ली. रस पीने और 3 से 5 बूंद आंखों में काजल की तरह लगाने से रतौंधी रोग में आराम होता है। -आंखों के हर प्रकार के रोग जैसे पानी गिरना, आंखें आना, आंखों की दुर्बलता, आदि होने पर रात को आठ बादाम भिगोकर सुबह पीस कर पानी में मिलाकर पी जाएं। -केला, गन्ना खाना आंखों के लिए लाभकारी है। गन्ने का रस पिएं। एक नींबू एक गिलास पानी में पीते रहने से जीवन भर नेत्र ज्योति बनी रहती है। -हल्दी की गांठ को तुअर की दाल में उबालकर, छाया में सुखाकर, पानी में घिसकर सूर्यास्त से पूर्व दिन में दो बार आंख में काजल की तरह लगाने से आंखों की लालिमा दूर होती है व आंखें स्वस्थ रहती हैं। -सुबह के समय उठकर बिना कुल्ला किए मुंह की लार अपनी आंखों में काजल की तरह लगाएं। लगातार छह महीने करते रहने पर चश्मे का नंबर कम हो जाता है। -कनपटी पर गाय के घी की हल्के हाथ से रोजाना कुछ देर मसाज करने पर आंखों की रोशनी बढ़ती है।