नयी दिल्ली, जेट एयरवेज का संकट और गहरा गया।प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने स्थिति पर विचार के लिये शाम को आपात बैठक बुलाई। सूत्रों के अनुसार, यह बैठक नागरिक उड्डयन मंत्री सुरेश प्रभु के उड्डयन सचिव प्रदीप सिंह खरोला को जेट एयरवेज से जुड़े मुद्दों की समीक्षा करने के लिये कहे जाने के बाद बुलाई गई।
एयरलाइन के केवल 11 विमान ही परिचालन में रह गये। इससे विभिन्न घरेलू और अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डों पर जेट एयरवेज से यात्रा करने वाले यात्री फंसे रह गये। प्रधानमंत्री कार्यालय में बैठक में भाग लेने के बाद खरोला ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये जेट एयरवेज प्रबंधन के साथ बैठक की। जेट एयरवेज ने शुक्रवार को घोषणा की है कि वह अपनी अंतरराष्ट्रीय उड़ानों को सोमवार तक निलंबित रखेगी। इससे जेट से यात्रा करने वाले यात्री विभिन्न हवाईअड्डों पर फंस गये।
इस सब के बीच जेट के कर्मचारियों ने मुंबई में प्रदर्शन किया और विरोध रैली निकाली। कर्मचारी अपने वेतन को लेकर मांग कर रहे थे। उन्होंने वेतन नहीं दिये जाने पर जेट प्रबंधन, गोयल और स्टेट बैंक प्रमुख के खिलाफ पुलिस में रिपोर्ट दर्ज किये जाने की भी मांग की। खरोला ने संवाददाताओं को बताया कि जेट एयरवेज ने शुक्रवार को 11 विमानों के साथ परिचालन किया। उन्होंने कहा कि एयरलाइन सप्ताहांत में शनिवार और रविवार को घरेलू उड़ान मार्गों पर छह से सात विमानों के साथ परिचालन करेगी।
खरोला से जब यह पूछा गया कि क्या एयरलाइन के पास सोमवार तक परिचालन के लिये धन उपलब्ध है तो सचिव ने सकारात्मक जवाब दिया। उन्होंने कहा कि जेट एयरवेज के प्रबंधन की बैंकों के साथ बैठक हुई है। इस बैठक में एयरलाइन ने कोष उपलबध कराये जाने संबंधी अपनी मांग रखी है। भारतीय स्टेट बैंक की अगुवाई में बैंकों का एक समूह इन दिनों जेट एयरेज के प्रबंधन का काम देख रहा हे। खरोला ने कहा कि बैंकों ने एयरलाइन प्रबंधन से अंतरिम कोष के बारे में अपने प्रस्ताव को नये सिरे से तैयार करने को कहा है। खरोला ने कहा कि सोमवार को जेट एयरवेज प्रबंधन फिर से बैंकों के साथ बैठक करेगा। यह इस बात पर निर्भर करता है कि एयरलाइन के भविष्य को लेकर बैंक आगे क्या तय करते हैं।
जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल की कंपनी में 50.1 प्रतिशत हिस्सेदारी है जो कि इस समय बैंक समूह के पास गिरवी है। पिछले महीने गोयल ने अपनी हिस्सेदारी को घटाकर 25.5 प्रतिशत पर लाने पर सहमति जताई थी ताकि एयरलाइन को अंतरिम तौर पर 1,500 करोड़ रुपये का धन उपलब्ध हो सके। इसके साथ ही गोयल ने एयरलाइन के निदेशक मंडल से हटने पर भी सहमति जताई थी लेकिन यह प्रक्रिया अभी तक पूरी नहीं हो पाई है।