भीम आर्मी संस्थापक की रासुका, योगी सरकार ने चौथी बार बढ़ायी, दलितों – पिछड़ों मे जबर्दस्त आक्रोश
July 30, 2018
लखनऊ, एकबार फिर यूपी की योगी सरकार के लिये भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर राष्ट्रीय सुरक्षा के लिये फिर खतरा बन गयें हैं। योगी सरकार ने चौथी बार चंद्रशेखर रावण की रासुका बढ़ा दी है। चंद्रशेखर की रासुका बढ़ाए जाने को लेकर भीम आर्मी समर्थकों सहित दलित -पिछड़ों मे आक्रोश है।
यूपी की योगी सरकार ने भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर रावण की रासुका चौथी बार तीन माह के लिए बढ़ा दी है। अब यह दो नवंबर तक प्रभावी रहेगी। एसएसपी उपेंद्र कुमार अग्रवाल ने बताया कि शासन के निर्देश प्राप्त नहीं हुए है, लेकिन पता चला है कि रासुका समय बढ़ाया गया है।
5 मई 2017 को सहारनपुर में महाराणा प्रताप जयंती के कार्यक्रम के जुलूस को लेकर राजपूतों और दलित समाज मे संघर्ष हुआ. जिसके बाद दोनों पक्षों के बीच हुए संघर्ष में सुमित नामक युवक की मौत हो गई थी. घटना के विरोध में 9 मई 2017 को भारत एकता मिशन के नेतृत्व में महापंचायत बुलायी गई , जिसकी अनुमति न दिए जाने पर आक्रोशित लोगों ने पथराव किया और रामनगर चौकी को भी आग के हवाले कर दिया. इस मामले में भीम आर्मी संस्थापक पर मुकदमा दर्ज कराया गया.
चंद्रशेखर उर्फ रावण द्वारा दाखिल अर्जी पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने जमानत मंजूर की थी। कोर्ट ने जातीय हिंसा से जुड़े 4 मामलों में भीम आर्मी चीफ और डिप्टी चीफ सहित 4 लोगों को जमानत देते हुये चन्द्रशेखर और कमल की गिरफ्तारी को राजनीति से प्रेरित बताया था।
लेकिन हाई कोर्ट से सभी मामलों में जमानत मिलने के बाद भी जेल से रिहाई नही मिली। चंद्रशेखर उर्फ रावण को प्रशासन ने रासुका में निरुद्ध कर दिया। और फिर योगी सरकार ने तीन-तीन माह करके चार बार रासुका बढ़ा दी है। बीजेपी सरकार की इस कार्रवाही पर भीम आर्मी समर्थकों सहित दलित -पिछड़ों मे आक्रोश है।भीम आर्मी एकता मिशन जल्द ही चंद्रशेखर उर्फ रावण को जेल से रिहा करवाने के लिए व्यापक आंदोलन शुरू करेगा।