जानिये क्यों गूंजा बसपा सम्मेलन में “मिले मुलायम-कांशीराम, हवा मे उड़ गये जय श्रीराम” का नारा ?
July 16, 2018
लखनऊ, बहुजन समाज पार्टी के मंडल स्तरीय कार्यकर्ता सम्मेलन मे जब सालों बाद एक बार फिर “मिले मुलायम-कांशीराम, हवा मे उड़ गये जय श्रीराम” का नारा गूंजा तो हर कार्यकर्ता जोश और उल्लास से भर उठा।
सालों बाद एक बार फिर “मिले मुलायम-कांशीराम, हवा मे उड़ गये जय श्रीराम” का नारा यूपी मे गूंजा है जो निश्चित तौर पर साम्प्रदायिक शक्तियों और संविधान विरोधी ताकतों के लिये बड़े खतरे का संकेत है। क्योंकि यह सिर्फ एक नारा नही बल्कि भारत मे साम्प्रदायिकता और संविधान विरोधी ताकतों के खिलाफ दलित -पिछडों के गठबंधन के एक सफल आंदोलन का संकेत है।
लखनऊ के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में चल रहे कार्यकर्ता सम्मेलन में मिशन 2019 के लिए कार्यकर्ताओं को दिशा निर्देश दिए जा रहे थे। सम्मेलन में लखनऊ और कानपुर मंडल के हज़ारों कार्यकर्ता मौजूद थे. साथ ही बसपा के प्रदेश अध्यक्ष आरएस कुशवाहा और नेशनल कोऑर्डिनेटर वीर सिंह और जय प्रकाश सिंह भी दिशा निर्देश दे रहे थे.
तभी वक्ता ने सालों पुराने नारे की याद दिलाते हुये आधा नारा बोलकर, कार्यकर्ताओं से शेष आधा नारा बोलने को कहा. अपने नेता के इस निर्देश का अक्षरश पालन करते हुये बसपा कार्यकर्ताओं ने “मिले मुलायम-कांशीराम, हवा मे उड़ गये जय श्रीराम” के नारे से इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान को गुंजा दिया.
पार्टी सूत्रों के अनुसार, यह नारा अनायास ही नही लगवाया गया है. नारे के माध्यम से बसपा कार्यकर्ताओं को आज ये साफ संदेश दे दिया गया है कि वे मानकर चलें कि समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन होने जा रहा है. एक दिन पहले ही बसपा सुप्रीमो मायावती ने आशंका जाहिर की थी कि बीजेपी मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ व राजस्थान विधानसभा के साथ ही लोकसभा का चुनाव भी समय से पहले करा सकती है.
उम्मीद है कि इस साल के अंत तक लोकसभा चुनाव हो सकतें हैं. इसलिये अब बसपा कार्यकर्ताओं को भी किसी भ्रम मे नही रहना चाहिये और जमीनी स्तर पर सपा कार्यकर्ताओं और वोटर से संपर्क मजबूत करना चाहिये. इसलिये सालों बाद एक बार फिर “मिले मुलायम-कांशीराम, हवा मे उड़ गये जय श्रीराम” के नारे से सपा-बसपा गठबंधन के पुख्ता संकेत दे दिये गयें हैं.