नयी दिल्ली, रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा विकसित शार्ट स्पैन ब्रिज प्रणाली पर आधारित 12 छोटे रेडीमेड ब्रिज यानी तैयार पुल आज सेना में शामिल हो गये।
सेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे ने शुक्रवार को दिल्ली कैंट में एक कार्यक्रम में 12 छोटे ब्रिज को सेना में विधिवत रूप से शामिल किया। इस मौके पर डीआरडीओ के अध्यक्ष डा जी सतीश रेड्डी भी मौजूद थे।
इन पुलों की मदद से सेना को अब छोटी नहरों और नदियों को पार करने में मुश्किल नहीं होगी । दस से बारह मीटर लंबे ये पुल विशेष रूप से देश की पश्चिमी सीमा पर अत्यधिक कारगर साबित होंगे।
करीब चार मीटर चौडे इन ब्रिजों को सड़क मार्ग से तुरंत एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाया जा सकता है इससे सैनिकों की तुरंत तैनाती में काफी मदद मिलेगी। डीआरडीओ की पुणे स्थित अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान प्रयोगशाला ने इन पुलों को लार्सन एंड ट्यूब्रो के साथ मिलकर बनाया है।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ, सेना और उद्योग जगत को इसके लिए बधाई दी है। उन्होंने कहा कि इस उपलब्धि से आत्मनिर्भर भारत अभियान को बढावा मिलेगा। डा सतीश रेड्डी ने भी इस प्रणाली को सेना में शामिल किये जाने पर संबंधित टीम को बधायी दी है।